ਮੋਦੀ ਸਰਕਾਰ ਡਿਜਿਟਲ ਇੰਡੀਆ ਦੇ ਨਾਮ ਤੇ ਲੋਕਾਂ ਨੂੰ ਨਿੱਤ ਨਵੇਂ ਸਿਆਪੇ ਪਾ ਰਹੀ ਹੈ। ਹੁਣ ਨਵੀਂ ਖਬਰ ਅਨੁਸਾਰ ਘਰਾਂ ਵਿਚ ਬਿਜਲੀ ਦਾ ਮੀਟਰ ਹੁਣ ਰਿਚਾਰਜ ਹੋਇਆ ਕਰੇਗਾ। ਜਿਸ ਵਿੱਚ ਸਿਮ ਪਿਆ ਕਰੇਗੀ। ਜਿੰਨਾ Recharge ਹੋਇਆ ਕਰੇਗਾ ਉਂਨ੍ਹਾਂ ਟਾਈਮ ਲਾਈਟ ਤੇ ਬਾਅਦ ਵਿੱਚ ਲਾਈਟ ਬੰਦ ਹੋ ਜਾਇਆ ਕਰੇਗੀ।ਸਰਕਾਰ ਜਲਦੀ ਹੀ ਇਸ ‘ਪ੍ਰੀਪੇਡ ਬਿਜਲੀ ਮੀਟਰ’ ਨੂੰ ਸ਼ੁਰੂ ਕਰਨ ਦੀ ਤਿਆਰੀ ਕਰ ਰਹੀ ਹੈ ਜੋ ਨਵੇਂ ਵਰੇ ਵਿਚ ਕੁਝ ਥਾਵਾਂ ਤੇ ਸ਼ੁਰੂ ਕੀਤਾ ਜਾਵੇਗਾ। ਮੋਦੀ ਦਾ ਨਵਾਂ ਸਿਆਪਾ ਲੋਕਾਂ ਨੂੰ ਸੂਤ ਆਉਂਦਾ ਜਾਂ ਕਲੇਸ਼ ਦਾ ਕਾਰਨ ਬਣਦਾ ਇਹ ਆਉਣ ਵਾਲਾ ਸਮਾਂ ਦੱਸੇਗਾ। अब मोबाइल की तरह बिजली के मीटर को भी रीचार्ज किया जा सकेगा। ग्रेटर नोएडा में 3 अक्टूबर से सिंगल फेस प्रीपेड मीटर लगाने का काम शुरू होगा। उपभोक्ता मीटर को जितना रीचार्ज करेंगे, उतनी ही बिजली यूज कर सकेंगे। यह सुविधा शुरू करने के पीछे एनपीसीएल का तर्क है कि इससे बिजली चोरी पर लगाम लगेगी। साथ ही बिजली की वेस्टेज भी कम होगी। कंपनी को 6 हजार रुपये देकर कोई भी इस मीटर को लगवा सकता है।
एनपीसीएल के मैनेजर समरजीत मोहंती ने बताया कि अक्टूबर से ग्रेटर नोएडा के सेक्टरों में सिंगल फेस प्रीपेड मीटर लगाए जाएंगे। अभी तक यह व्यवस्था केवल पश्चिम बंगाल में ही लागू है। यह मीटर लगाने के लिए उपभोक्ताओं पर दबाव नहीं बनाया जाएगा। इस प्रीपेड मीटर में समय-तारीख, अधिकतम डिमांड, सप्लाई फ्रीक्वेंसी, स्वीकृति लोड, क्रेडिट लिमिट, क्रेडिट रकम का पूरा ब्यौरा होगा। मीटर को रीचार्ज करने के लिए कंपनी शहर में जगह-जगह काउंटर बनाएगी। साथ ही उपभोक्ताओं के लिए कंपनी एक नंबर जारी करेगी, जिसे डायल कर भी मीटर को रीचार्ज किया जा सकेगा।लोगों को होगा फायदा-यह मीटर लगवाने वाले उपभोक्ताओं को कई फायदे होंगे। मीटर को उपभोक्ता के मोबाइल से कनेक्ट किया जाएगा। इससे उपभोक्ता जब चाहे यह चेक कर सकेंगे कि हर रोज कितनी यूनिट बिजली खर्च हो रही है और रीचार्ज कब खत्म हो रहा है। कंपनी भी समय-समय पर अपडेट मेसेज भेजती रहेगी। रीचार्ज खत्म होने से पहले ही मेसेज मिल जाया करेगा।क्या होगा नुकसान-वर्तमान स्थिति में अगर उपभोक्ता समय पर बिल नहीं भर पाता तो उसका बिजली कनेक्शन करीब 60 दिन बाद जाकर कटता है। वहीं प्रीपेड मीटर में रुपये खत्म होते ही तुरंत बिजली गुल हो जाएगी।